डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय पूसा द्वारा आयोजित तीन दिवसीय किसान मेला सम्पन्न। Samastipur News

सुमन यादव

समस्तीपुर ! डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय पूसा द्वारा 23 फरवरी से 25 फरवरी तक आयोजित तीन दिवसीय किसान मेला शनिवार को समापन हो गया। इस समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रुप में एग्रीकल्चर साइंटिस्ट रिक्रूटमेंट बोर्ड के मेंबर डॉ एस पी कुमेठी ने शिरकत किया। केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित इस किसान मेले में विश्वविद्यालय के अलावे किसानों और कृषि से जुड़े विभिन्न एजेंसियों के द्वारा 175 स्टाल लगाए गए थे । जिसका निरीक्षण विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ पी एस पांडे और मुख्य अतिथि डॉ एस पी कुमेठी ने किया । 

विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित इस किसान मेले को लेकर डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ पी एस पांडे ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार के साथ-साथ विश्वविद्यालय का प्रयास है कि कैसे किसानों की आमदनी दुगना किया जाय । इसके लिए विश्वविद्यालय के द्वारा ना सिर्फ बीज के नए प्रभेद बल्कि तकनीकों को भी विकसित किया जा रहा है । जिससे किसान कम लागत में ज्यादा मुनाफा अर्जित कर सकते हैं । कुलपति डॉ पी एस पांडे ने कहा कि इस मेले में ड्रोन तकनीक और गन्ना के नए प्रभेद किसानों को काफी आकर्षित कर रहे हैं। विश्वविद्यालय में आए लगभग सात से ज्यादा किसानों के मोबाइल नंबर लिए गए हैं ताकि समय-समय पर विश्वविद्यालय के द्वारा अनुसंधान किए जा रहे नए तकनीक को किसानों तक पहुंचाया जा सके।

वंही इस मेले के समापन समारोह में शिरकत करने पहुंचे मुख्य अतिथि डॉ एस पी कुमेठी ने कहा कि डॉ राजेंद्र प्रसाद केंद्रीय कृषि विश्वविद्यालय के द्वारा आयोजित इस किसान मेले में शिरकत करने का मौका मिला । इस मेले में आए किसान विश्वविद्यालय के द्वारा किसान मेले में लगाए गए स्टालों में जाकर वैज्ञानिकों से बात कर नई तकनीक और कृषि से संबंधित जानकारी के साथ अपनी समस्या साझा कर उसका समाधान पा रहे हैं। साथ ही उन्होंने विश्वविद्यालय के कार्यकलापों की सराहना करते हुए कहा कि काफी बेहतर काम किए गए हैं ।  उम्मीद करते हैं कि आगे और बेहतर किया जाए जिससे ज्यादा से ज्यादा किसान लाभान्वित हो सकें । कुलपति ने बताया कि छठ पर्व को लेकर विशेष ईख का उत्पादन किया गया है, उन्होने बताया कि बिहार उत्तर प्रदेश का आस्था का महान पर्व पर ईख की कमी को देखते हुये डॉ  राजेन्द्र प्रसाद कृषि विश्वविद्यालय पूसा ने छठ व्रतियों के लिए खासकर ईख उत्पादन की व्यवस्था किया है !

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