BY- झुन्नू बाबा
समस्तीपुर ! डा . राजेन्द्र प्रसाद केन्द्रीय कृषि विश्वविद्यालय दिवंगत छात्र अखिल साहू के प्रति अपनी संवेदना जाहिर करता है । विश्वविद्यालय के अधिकारियों से मिली सूचना के अनुसार रात को लगभग नौ बजे विश्वविद्यालय से लगभग तीन किलोमीटर दूर महमदा गाँव के समीप मोटरसाइकिल दुर्घटना हो गयी , जिसमें अखिल साहु , दुर्घटनाग्रस्त हो गये । छात्रों का कहना है कि ये कुल्हड़ लाने गये थे और वापस लौट रहे थे । विश्वविद्यालय के अधिकारियों से मिली जानकारी के अनुसार लगभग नौ बजकर बीस मिनट पर दो छात्र विश्वविद्यालय के मेडिकल सेंटर पर पहुँचे और वहाँ मौजूद कर्मचारी से एंबूलेंस की मांग की जिसके बाद कर्मचारी ने एंबुलेंस ड्राइवर को सूचना दी और तुरन्त ही एंबूलेंस घटना स्थल के लिए रवाना हो गई ।
छात्र तबतक उसे लेकर मुश्किल से दो सौ मीटर आगे बढ़े थे कि एंबूलेंस पहुंच गई और दुर्घटनागस्त छात्र को एंबुलेंस से विश्वविद्यालय के मेडिकल केयर सेंटर ले आया गया । इस बात की पुष्टि जहाँ दुर्घटना हुई यहाँ के स्थानीय निवासी राजीव सिंह की बातचीत से होता है जो घटनास्थल पर सबसे पहले पहुंचे थे और घटनास्थल के साम ही उनका आवास है । इस बातचीत का ऑडियो क्लिप मौजूद है और सभी पत्रकारों को उनके मोबाइल पर भेज दिया गया है । दुर्घटना की जानकारी मिलते ही विश्वविद्यालय के डॉ ० मयंक , विश्वविद्यालय के सह - छात्र कल्याण निदेशक डॉ ० सतीश कुमार तथा हास्टल के यार्डन अस्पताल पहुंच गये । लगभग 9.45 के आसपास दुर्घटनाग्रस्त छात्र को लेकर विश्वविद्यालय मेडिकल केयर सेंटर पर एंबूलेंस पहुॅचा एंबूलेंस के पहुंचने से पहले डॉ ० सतीश कुमार , डॉ ० जयक कुमार और हास्टल के वार्डन मेडिकल केयर सेंटर पहुंच चुके थे और एंबुलेंस का इंतजार कर रहे थे । इस बीच सैंकड़ों छात्र भी वहाँ पहुँच चुके थे । डॉक्टर से मिली जानकारी के अनुसार छात्र की स्थिति काफी गंभीर थी । डाक्टर का कहना है कि बदहवासी में कई छात्र अपने अपने तरह से इलाज के लिये चिल्ला रहे थे । छात्र की गंभीर स्थिति को देखते हुये प्राथमिक चिकित्स देकर दस मिनट में छात्र को मुजफ्फरपुर के एस . के . एम . सी . एच अस्पताल के लिये रेफर कर दिया गया । मेडिकल केयर सेंटर के कर्मचारियों के अनुसार एंबूलेंस में कई छात्र घुस गये और उसे मोटर साइकिल से पीछे पीछे आने को कहा । इस बीच विश्वविद्यालय की ओर से मेडिकल केयर सेंदर के डाक्टर बच्चा बाबू को मुजफ्फरपुर में तुरंत ही जानकारी दी गई जो संयोग से मुजफ्फरपुर में ही थे । ये एस . के . एम . सी . एच में छात्रों के पहुंचने से पहले अस्पताल पहुँचकर उनका इंतजार कर रहे थे । लेकिन छात्र एस . के . एम.सी.एच पहुंचे ही नहीं । ऐसी सूचनायें मिली है कि छात्र का देहांत रास्ते में ही हो गया । जिसकी सूचना छात्रों ने फोन से अपने साथियों को दी इसके बाद कुछ असामाजिक तत्वों के बहकावे में उनके साथ मिलकर छात्र अस्पताल में तोड़ फोड़ करने लगे । छात्रों का कहना है कि वे किसी निजी चिकित्सक के पास पहुंचे जिन्होंने कहा कि छात्र का देहांत हो गया है जिसके बाद वे एस . के . एम . सी . एच नहीं पहुंचे और एंबूलेंस खुद चलाकर वापस ले आये । हालांकि यह जाँच का विषय है । इधर एंबूलेंस के ड्राइवर से मिली जनहीं पहुंचे और उसके साथ मारपीट करने लगे जिसके बाद वो डरकर भाग गया । विश्वविद्यालय में कुछ असामाजिक तत्वों के साथ मिलकर छात्र अस्पताल में तोड़ फोड़ करने लगे और यहां मौजूद कर्मचारियों से मारपीट करने लगे । इसके बाद भीड़ कुलपति आवास पर पहुंचा और गेट को तोड़ दिया , आसपास के गमले उठाकर फेंकने लगे , वहां मौजूद गाड़ियों में आग लगा दी और कुलपति आवारा पर पत्थरबाजी करने लगे । छात्रों ने कुलपति से वार्ता की कोई कोशिश नहीं की । सी.सी. टीवी फुटेज से इस बात की पुष्टि होती है कि भीड़ कैसे आकोश में थी और पत्थरबाजी कर रही थी तथा कुलपति और उनके परिवार के सदस्यों को मारने पर उतारू थी । सी.सी.टी.वी फुटेज की कॉपी सभी पत्रकारों को उपलब्ध करा दिया गया है । अगर पुलिस नहीं आती तो किसी भी अनहोनी से इंकार नहीं किया जा सकता था । इस बीच पुलिस के आने पर छात्र पुलिस से भी उलझ गये और लगभग 4 घंटो तक छात्रो का संघर्ष पुलिस से चलता रहा । छात्रों ने अकादमिक भवन में भी बिजली के खंभों को तोड़ दिया और पुलिस पर भी पत्थरबाजी की । इन परिस्थितियों में विश्वविद्यालय में अनुशासन बनाये रखने के लिये जरूरी कदम के तौर पर सभी डीन और कुलसचिव की संस्तुति पर विश्वविद्यालय में अध्ययन कार्य को तुरंत ही रोक दिया गया और छात्रों को छात्रावास खाली करने को कहा गया । विश्वविद्यालय के छात्रावास के वार्डन एवं अन्य शिक्षकों को निर्देश दिया गया कि ये सभी छात्रों के साथ और उनके पेरेंट्स के साथ सम्पर्क में रहे तथा दिवंगत छात्र के पेरेंट्स को सूचित करें और उनके सम्पर्क में रहे । सभी वार्डनों से मिली सूचना के अनुसार विश्वविद्यालय के सभी छात्र अपने पेरेंट्स के पास या लोकल गार्जियन के पास पहुँच चुके है यह विश्वविद्यालय के लिये संतोष का विषय है । यह कदम उठाना अतिआवश्यक था ताकि इस अफरातफरी का फायदा उठाकार कोई असामाजिक तत्व किसी अन्य छात्र को नुकसान न पहुंचा दें । विश्वविद्यालय जहाँ अपने छात्र के देहांत से दुखी था और अपने छात्रों की सुरक्षा तथा विश्वविद्यालय की सुरक्षा को लेकर कदम उठा रहा था वहीं कुछ लोग इस दुखद स्थिति का फायदा लेकर राजनीति करने की कोशिश में सक्रिय हो गये । ऐसी सूचनायें मिली है कि छात्रों को भड़काया जा रहा है कि विश्वविद्यालय छात्रों के विरुद्ध कारवाई कर रहा है लेकिन मैं सभी छात्रों को आश्वस्त करना चाहता हूँ कि विश्वविद्यालय किसी भी तरह का प्रतिशोधात्मक कार्य नहीं करेगा । लेकिन विश्वविद्यालय के छात्र की दुर्घटना में मौत एक पुलिस जांच का विषय है । कई बिंदुओं पर पुलिस अपनी जांच कर रही हैं विश्वविद्यालय किसी भी तरह की प्रतिशोधात्मक कार्रवाई नहीं करेगा लेकिन पुलिस की जांच में आपराधिक कृत्यों में शामिल छात्रों को बचाने का प्रयास भी नही करेगा ।