फिरोज़ आलम (झुन्नू बाबा)
समस्तीपुर पुलिस अधीक्षक मानव जीत सिंह ढिल्लों के निर्देश में एवं सदर अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी शहबान हबीब फाखरी के नेतृत्व में पुलिस ने 48 घंटों के अंदर मुसरीघरारी में हुए व्यवसायी की निर्मम हत्या की गुत्थी को लगभग सुलझा लिया है। मिली जानकारी के अनुसार बीते 26 सितंबर को मुसरीघरारी थाना क्षेत्र में व्यवसायी की निर्मम हत्या कर दी गई थी। इस मामले में को लेकर मुसरीघरारी में लोगों ने जमकर हंगामा किया था।
लोगों ने पुलिस प्रशासन के विरोध में जमकर नारेबाजी भी की थी। इस घटना को लेकर 2 दिनों मंगलवार तक मुसरीघरारी बाजार को व्यापारियों ने बंद रखा है। हालांकि सदर अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी शहबान हबीब फाखरी के नेतृत्व में पुलिस की टीम ने 48 घंटों के अंदर इस मामले को लगभग सुलझा लिया है एवं हत्या में सॉलप्त तीन अपराधियों को गिरफ्तार भी कर लिया है। मंगलवार शाम प्रेस को संबोधित करते हुए सदर डीएसपी शहबान हबीब फाखरी ने बताया कि हत्या की घटना के बाद एक एसआईटी का गठन किया गया था।
एसआईटी टीम द्वारा घटना के बाद मानवीय एवं तकनीकी सूचना एवं अनुसंधान के आधार पर किराना व्यवसाई हत्या की घटना से संबंधित तीन अपराधियों को गिरफ्तार किया गया है। साथ ही गिरफ्तार अपराधियों के पास से व्यवसाई रंगदारी मांगे जाने के दौरान इस्तेमाल किए जाने
बाले मोबाइल सेट को भी बरामद कर लिया है। चुकी घटना को अज्ञात अपराधियों द्वारा अंजाम दिया गया था। तो यह पुलिस की टीम के लिए काफी चुनौतीपूर्ण था। जिस चुनौती को स्वीकार करते हुए जिला प्रशासन की टीम ने लगातार विभिन्न स्थानों पर छापेमारी की छापेमारी के दौरान पुलिस ने मुसरीघरारी थाना क्षेत्र के बखरी गांव के राजेश राव पर संदेह हुआ चुकी राजेश पूर्व में भी पुलिस का वाछित अभियुक्त था। इसलिए राजेश राय के घर पर घटना के पटना के अगले दिन सोमवार को जांच की गई। जांच के दौरान राजेश राय के घर से कुल 4 लाख 21 हजार रुपए बरामद किया गया।
दूसरी तरफ मुसरीघरारी थाना कांड संख्या 127/2021 जो व्यवसायी से मोबाइल से अपराध कर्मियों द्वारा रंगदारी मांगे जाने से संबंधित था, अनुसंधान एवं मानवीय तकनीक पर जांच की जा रही थी। इसके सहयोग से
मुसरीघरारी व्यवसाई हत्याकांड में सरायरंजन थाना क्षेत्र के खालिसपुर निवासी राजेंद्र साहनी के पुत्र हरेंद्र कुमार के नाम से रंगदारी मांगा जाने वाला मोबाइल नंबर पाया गया जिसके उपरांत हरेंद्र कुमार के घर पर छापेमारी कर हरेंद्र कुमार को गिरफ्तार किया गया। पूछताछ के क्रम में हरेंद्र कुमार ने स्वीकार किया कि रंगदारी की घटना में उसकी संलिप्तता थी एवं उसने अपने सहयोगी के बारे में जानकारी दी। हरेंद्र कुमार ने अपने सहयोगियों राजा चौरसिया, रवि कुमार के साथ मिलकर राजेश पाल के लिए रंगदारी मांगने एवं रंगदारी से मिले रुपए को राजेश पाल के बताए अनुसार विभिन्न जगहों पर अपना हिस्सा रखते हुए पहुंचाने का कार्य करते थे।
छापेमारी के क्रम में रंगदारी में प्रयोग किए जाने वाले मोबाइल सेट को राजा चौरसिया के पास से बरामद किया गया है। पूछताछ के क्रम में गिरफ्तार अपराधी कर्मियों के द्वारा पिछले दिनों एक व्यवसाई से कुल 5 लाख रुपए वसूल करने की बात स्वीकार करते हुए उन रुपयों को राजेश पाल के आदेश अनुसार अपना हिस्सा रखते हुए बाको रुपया राजेश राय को मुसरीघरारी पहुंचाया। इसके बाद इन लोगों के स्वीकारोक्ति बवान उपरांत स्पष्ट हो गया कि पिछले दिनों राजेश राय के घर पर 4 लाख 21 हजार रुपए बरामद हुआ था, वह पैसा रंगदारी का ही था। इस गैंग का मुख्य सरगना राजेश पाल है जिसकी गिरफ्तारी हेतु पुलिस की टीम
लगातार छापेमारी कर रही है। बरामद मोबाइल सेट से ही पिछले दिनों किराना व्यवसाई से रंगदारी की मांग की गई थी। इस संबंध में मुसरीघरारी थाना कांड संख्या 127/2021 दर्ज है। गिरफ्तार तीनों अपराधियों से पूछताछ करने पर अन्य कई बातें सामने आई है। जिसमें इनके द्वारा स्वीकार किया गया है कि पिछले दिनों मुसरीघरारी में हुए हैं व्यवसाई हत्या की गई थी। उसमें गिरफ्तार अभियुक्तों द्वारा लाइनर का कार्य किया गया था एवं गैंग का मुख्य सरगना राजेश पाल के द्वारा शूटर भेजकर व्यवसाई की हत्या कराई गई थी।
इस प्रकार उपरोक्त व्यवसाई की हत्या में भी इन लोगों की सलिप्तता पाई गई है। घटना में संलिप्त अपराध कर्मियों घटना से संबंधित साक्ष्य को और स्पष्ट करने हेतु एसआईटी की टीम द्वारा कार्यवाही किया जा रहा है। गिरफ्तार अपराध कर्मियों का अपराधिक पृष्ठभूमि रहा है एवं इनका आपराधिक इतिहास भी है।
गिरफ्तार अपराध कर्मियों में से 2 अपराधी का दुकान मुसरीघरारी बाजार में ही अवस्थित है। गिरफ्तार अपराधियों की पहचान सरावरंजन थाना क्षेत्र के खालिसपुर गांव निवासी राजेंद्र साहनी के पुत्र हरेंद्र कुमार, मुसरीघरारी थाना क्षेत्र के बबुआ बुजुर्ग गांव निवासी बालेश्वर शाह के पुत्र रवि कुमार, मुसरीघरारी थाना क्षेत्र के बबुआ बुजुर्ग गांव निवासी राम विनोद के पुत्र राजा चौरसिया के रूप में की गई है।